स्वतंत्रता दिवस व जन्माष्टमी पर तीन दिन प्रताप गौरव केन्द्र के शुल्क में रहेगी छूट

( Read 3313 Times)

14 Aug 25
Share |
Print This Page
स्वतंत्रता दिवस व जन्माष्टमी पर तीन दिन प्रताप गौरव केन्द्र के शुल्क में रहेगी छूट

उदयपुर, प्रताप गौरव केन्द्र ‘राष्ट्रीय तीर्थ’ में स्वतंत्रता दिवस मनाने के साथ ही जन्माष्टमी महोत्सव शुरू हो जाएगा। 15 से 17 अगस्त तक चलने वाले इस महोत्सव और मेले के दौरान प्रताप गौरव केन्द्र दर्शन के शुल्क में भी छूट रहेगी। मेले और महोत्सव में भक्तिधाम में दर्शन के लिए आने वाले श्रद्धालुओं को कोई शुल्क देय नहीं होगा।
प्रताप गौरव केन्द्र के निदेशक अनुराग सक्सेना ने बताया कि वीर शिरोमणि महाराणा प्रताप समिति, उदयपुर के अंतर्गत संचालित प्रताप गौरव केन्द्र "राष्ट्रीय तीर्थ" में 15 अगस्त को स्वतंत्रता दिवस पर केन्द्र पर राष्ट्रध्वज फहराया जाएगा। इसके साथ ही 17 अगस्त तक श्रीकृष्ण जन्माष्टमी महोत्सव और मेले की धूम शुरू हो जाएगी। मेले में विभिन्न वस्तुओं की स्टाल्स लगाई जाएंगी। चकरी-झूले की भी तैयारी की जा रही है। स्टाल्स की बुकिंग शुरू हो चुकी है। महोत्सव की तैयारियां जारी हैं।
सक्सेना ने बताया कि स्वतंत्रता दिवस और जन्माष्टमी महोत्सव पर तीनों दिन गौरव केन्द्र दर्शन का शुल्क 50 रुपए रहेगा। शाम को होने वाले वाटर लेजर शो ‘मेवाड़ की शौर्यगाथा’ में भी 50 रुपए ही शुल्क रहेगा। मेले, जन्माष्टमी महोत्सव व दर्शन के लिए आने वालों के लिए नि:शुल्क प्रवेश रहेगा।
कार्यक्रम संयोजक शंभू गमेती ने बताया कि महोत्सव की शुरुआत 15 अगस्त को सायंकाल 7 बजे नाव मनोरथ से होगी। नाव मनोरथ के साथ रासलीला मंचन और भजन संध्या भी होगी। अगले दिन 16 अगस्त को प्रातः 7 बजे पञ्चामृत अभिषेक किया जाएगा, जिसमें भगवान श्रीकृष्ण का भक्तों द्वारा विधिवत अभिषेक किया जाएगा तथा अभिषेक उपरांत प्रसाद वितरण किया जाएगा।
सह संयोजक भूपेश पंचाली ने बताया कि 16 अगस्त को ही दोपहर 1 बजे से 5 बजे तक झांकी प्रतियोगिता होगी, जिसमें स्थानीय विद्यालयों व संस्थाओं द्वारा श्रीकृष्ण की विविध लीलाओं को सजीव झांकियों के माध्यम से प्रस्तुत किया जाएगा। इसी दिन, रात्रि 7 बजे से दही हांडी प्रतियोगिता भी होगी, जिसमें युवाओं की टीम भाग लेंगी और बालकृष्ण की माखन चोरी लीला का जीवंत रूपांकन करेंगी। विजेता को 51 हजार रुपए का पुरस्कार प्रदान किया जाएगा।
सह संयोजक वी.के. सिंह ने बताया कि महोत्सव का अंतिम दिन 17 अगस्त को वेशभूषा प्रतियोगिता के रूप में मनाया जाएगा। प्रतियोगिता दोपहर 2 बजे से होगी। इसमें बालक व बालिकाएं व उनकी माताएं श्रीकृष्ण, राधा, बलराम, यशोदा आदि की वेशभूषा में भाग ले सकेंगे। 


Source :
This Article/News is also avaliable in following categories :
Your Comments ! Share Your Openion

You May Like