विज्ञान समिति एवं डॉ. डी. एस. कोठारी संस्थान के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित आठवीं मासिक प्रौद्योगिकी व्याख्यान माला में कृषि वैज्ञानिक डॉ. के. एल. तोतावत ने “ऋतु परिवर्तन तथा कृषि रणनीति” विषय पर सारगर्भित व्याख्यान प्रस्तुत किया |
अपने व्याख्यान में डॉ. तोतावत ने ग्रीनहाउस गैसों, एल नीनो, ला नीनो तथा भू-मण्डलीय ऋतु परिवर्तन के कारण कृषि उत्पादन पर पड़ने वाले प्रतिकूल प्रभावों का विस्तृत विश्लेषण किया | उन्होंने यह भी सुझाव दिए कि वैज्ञानिक दृष्टिकोण और उचित कृषि रणनीति अपनाकर इन प्रभावों को किस प्रकार कम या निष्प्रभावी किया जा सकता है |
मीडिया प्रभारी प्रो विमल शर्मा ने बताया कि अध्यक्षता डॉ. के. एल. कोठारी ने की, विज्ञान समिति के अध्यक्ष डॉ. महीप भटनागर ने अतिथियों का स्वागत किया, जबकि डॉ. के. पी. तलेसरा ने वार्ताकार का परिचय प्रस्तुत किया | डॉ. डी. एस. कोठारी संस्थान के अध्यक्ष इंजी. आर. के. चतुर ने अपने उद्बोधन में पेयजल की दीर्घकालीन योजना निर्माण की आवश्यकता पर बल दिया |
कार्यक्रम का संचालन संस्थान के महासचिव इंजी. महावीर प्रसाद जैन ने किया तथा आभार अभिव्यक्ति विज्ञान समिति के कार्यकारी अध्यक्ष मुनीष गोयल ने की |
इस अवसर पर नवभारत सीनियर सैकेंडरी स्कूल के 20 विद्यार्थी एवं अध्यापिकाओं ने सक्रिय सहभागिता निभाई | विज्ञान समिति ने विद्यालय के प्राचार्य श्री नरेश कुमार वाधवानी का हार्दिक धन्यवाद ज्ञापित किया |
व्याख्यान में डॉ. सुजान सिंह, इंजी. अशोक जैन, इंजी. गौरांग शाह, डॉ. आर. के. गर्ग, इंजी. आर. के. नेभनानी, इंजी. एस. सी. के. वैद, श्री शांति लाल भण्डारी, श्रीमती रेणु भण्डारी सहित अनेक गणमान्य सदस्य उपस्थित रहे |