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सत्य, पवित्रता और दया का धारण ही धर्म

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02 May 19
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सत्य, पवित्रता और दया का धारण ही धर्म

जीवन मे व्यक्ति को हमेशा सकारात्मक विचार रखने चाहिए, सकारात्मक सोच के कारण व्यक्ति के जीवन में सुख आनंद व सम्रधी की वृद्धि् होती है। यह बात नारायण सेवा संस्थान के बडी स्थित सेवा महातीर्थ मे ‘श्रीराम-कृष्ण अवतार कथा्’ एवं ‘अपनों से अपनी बात’ कार्यक्रम के अंतिम दिन गुरुवार को व्यासपीठ से कैलाश मानव ने कही। उन्होंने कहा कि जीवन में नकारात्मक सोच न रखे और दीन दुखियो की सेवा मे हमेशा तत्पर रहें। जीवन की सफलता के लिए सद्विचार महत्वपूर्ण है। सत्य, पवित्रता, दया और दान को जीवन मे धारण करना ही धर्म है। धर्म अंतिम यात्रा मे जीव के साथ जाता हैं। मनुष्य को किसी परिस्थिति मे धर्म के मार्ग को नही छोड़ना चाहिए। धर्म ही एक ऐसा मार्ग है, जो आपको संसार की समस्त समस्याओं का समाधान देगा। कार्यक्रम का सीधा प्रसारण आस्था चैनल पर हुआ। संचालन महिम जैन ने किया।


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