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“सतरंगी राग” का हुआ लोकार्पण – कविता के रंगों में सजी एक संवेदनशील शाम!

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13 Oct 25
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“सतरंगी राग” का हुआ लोकार्पण – कविता के रंगों में सजी एक संवेदनशील शाम!

शहर के प्रतिष्ठित होटल के सभागार मे नवोदित लेखक आलोक बांगा ‘आलोक’ की प्रथम काव्य कृति “सतरंगी राग” का विमोचन कार्यक्रम के मुख्य अतिथि कवि एवं साहित्यकार अतुल कनक , विशिष्ट अतिथि डॉ. दीपक कुमार श्रीवास्तव संभागीय पुस्तकालय अध्यक्ष  राजकीय सार्वजनिक मण्डल पुस्तकालय कोटा, ऋतु जोशी कवित्री, लेखक एवं विचारक, परमानन्द दाधीच जी राष्टीय ओजस्वी कवि के विशेष आतिथ्य में सम्पन्न हुआ | जिसमे शहर के सुधिजन एवं काव्य प्रेमियों ने हिस्सा लिया| 

इस अवसर पर मुख्य अतिथि अतुल कनक्क ने कहा कि – कविता जीवन को विस्तार देती हे और समाज मे सकारात्मक मूल्यों को पोषित करती हे उन्होने कहा कि रचनाकार ने अपने जीवने के अनुभवो और रूमानियत को लेकर कवितायो का सृजन किया हे हम उम्मीद करते हे कि भविष्य मे हमे उनसे और भी महतावपूर्ण रचनाए मिलेंगी |

इस अवसर डॉ दीपक ने कहा कि- हम कविता केसी लिख रहे हे , इससे भी महतावपूर्ण बात यह जानना होती हे कि हम कविता क्यों लिख रहे हे दरअसल अगर रचनाकार के मन मे सारे समाज के लिए संवेदनाए और सहानुभूति हो तो रचनाकर सार्थक सृजन कि दीशा मे स्वाय गतिशील हो जाता हे | ऋतु जोशी ने कहा कि – एक व्यश्र्त दिनचर्या के बावजूद लगातर कविताए लिखना आसान नाही होता और रचनाकार ने अपने अंतस के भावो को बचाते हुये जीवन जीने की दिशा दी हे तो उन्हे बधाई दी जानी चाहिए | लेखक ने अपने उदबोधन मेअपने काव्य यात्रा के अनुभवों को साझा किया | उन्होने कहा कि कविता ने कठिन परिस्थियों मे भी मुझे जीने की ऊर्जा दी हे उन्होने अपने संकलन से कुछ कविताओ का पाठ किया | आभार मॉर्निंग बर्ड्स की निदेशिका शालिनी बांगा ने दिया | मंच संचालन वेशनवी ने किया | परमानंद दाधिच ने लेखक को साफा, शाल उड़ाकर अभिनंदन किया |


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