जयपुर/उदयपुर, नई दिल्ली के विज्ञान भवन में शुक्रवार को आयोजित ‘आदि कर्मयोगी अभियान’ के नेशनल कॉन्क्लेव में राज्य के जनजाति विकास मंत्री श्री बाबूलाल खराड़ी ने कहा कि राजस्थान में जनजाति बालिकाओं के लिए 12वीं कक्षा से कराई जा रही नीट की कोचिंग को अब 11वीं कक्षा से शुरू करवाया जाएगा जिससे उन्हें कोचिंग के लिए ज्यादा समय मिल सके।
उन्होंने बताया की जनजाति विकास विभाग अब जनजाति बच्चों को प्रतियोगी परीक्षाओं की कोचिंग भी करवाएगा। इससे आर्थिक रूप से पिछड़े आदिवासी बहुल इलाकों के बच्चों को अच्छी शिक्षा के साथ ही नौकरी पाने के बेहतर अवसर उपलब्ध होंगे। अभी तक यह कोचिंग सामाजिक अधिकारिता विभाग करवा रहा है लेकिन अब जनजाति विकास विभाग कम से कम 25 बच्चों की कोचिंग अपने स्तर पर शुरू करवाने जा।
श्री खराड़ी ने बताया कि केंद्र सरकार के ‘आदि कर्मयोगी अभियान’ और ‘धरती आभा’ कार्यक्रम के तहत प्रदेश में जनजाति क्षेत्र में बहुत तेजी से विकास काम हो रहा है। सभी जनजातीय आवासीय विद्यालयों में न्यूनतम तीन सीसीटीवी कैमरे लगाने के निर्देश दिए जा चुके हैं जिससे भोजन की गुणवत्ता और बच्चों की सुरक्षा पर फोकस किया जा सकेगा।
श्री खराड़ी ने बताया कि राजस्थान सरकार आदिवासियों के सर्वांगीण विकास के लिए प्रतिबद्ध हैं, और इस दिशा में हम निरंतर काम कर रहे हैं।