उदयपुर । पेसिफिक मेडिकल कॉलेज एवं हॉस्पिटल के कैन्सर रोग विभाग की ओर से “ रिसेन्ट अपडेट इन ब्रेस्ट्र कैन्सर ” बिषय पर एक ऑनलाइन वर्कशॉप का आयोजन किया गया। इस वर्कशॉप में देश के ३० से ज्यादा कैन्सर रोग विषेशज्ञों ने स्तन कैन्सर के इलाज की नई विधाओं पर अपने विचार रखें।
वर्कशॉप के इस मौके पर कैन्सर रोग विषेशज्ञ डॉ.मनोज महाजन ने कैंसर के शीघ्र निदान के बारे में बताया। उन्होनें कहा कि जैसे जैसे कैन्सर के मरीज दिनो दिन देश मे बढ रहे इन्हे रोकने के लिए हमें प्रारंभिक अवस्था में कैंसर की जॉच की आवश्यकता है जिससे कैन्सर की जटिलताओं के साथ साथ इसके उपचार की लागत को कम किया जा सकता है।
इस अवसर पर शेल्बी ग्रुप ऑफ ऑन्कोलॉजी के निदेशक डॉ.पुर्वीश एम पारीख ने स्तन कैंसर की बढती घटनाओं का उल्लेख करते हुए इसके उपचार में टारगेटेड थैरेपी के बारे मे बताया।
वर्कशॉप के दौरान मणिपाल अस्पताल बैंगलोर के निदेशक डॉ अमित रौथन ने स्तन कैंसर के वर्तमान प्रबंधन में तरल बायोप्सी की महत्व पर प्रकाश डालते हुए नीडिल बायोप्सी से बचने की आवश्यकता के बारे में बताया।
इस अवसर पर भगवान महावीर अस्पताल जयपुर में ऑन्कोलॉजी के निदेशक डॉ अजय बापना ने स्तन कैंसर के शुरुआती चरणों में उपचार के बारे में बताया, जबकि जयपुर के एचसीजी अस्पताल में ऑन्कोलॉजी के निदेशक डॉ नरेश सोमानी ने कैंसर के उन्नत चरणों में उपचार के विकल्पों के बारे में बताया। तो बही दूसरी ओर महात्मा गांधी अस्पताल जयपुर में ऑन्कोलॉजी के निदेशक डॉ हेमंत मल्होत्रा ने प्रारंभिक स्तन कैंसर में विभिन्न उपचार संबंधी प्रतिकूल घटनाओं के बारे में विस्तार से बताया।
इस वर्कशॉप मे देशभर के प्रतिष्ठित ऑन्कोलॉजिस्ट ने सक्रिय रूप से भाग लिया और स्तन कैंसर जागरूकता और स्तन कैंसर के नए उपचार की विधाओं पर चर्चा की।