उदयपुर। लेकसिटी पयर्टन नगरी के साथ मेडिकल हब बनती जा रही है। यहां नयी-नयी तकनीकों से मरीजों का उपचार किया जा रहा है। हृदय रोगियों को भी जटिल समस्याओं के बावजूद आधुनिक उपचार उपलब्ध हो रहा है। हृदय रोगों के उपचार में अत्याधुनिक तकनीकों के उपयोग व लाभ पर सातवीं कार्डियक समिट का आयोजन 3 व 4 अगस्त को हार्ट एंड रिदम सोसायटी एवं एपीआई उदयपुर, पारस हेल्थ और आईएमए उदयपुर के संयुक्त तत्वावधान में किया जा रहा है। आयोजन चेयरमैन डॉ. अमित खण्डेलवाल ने बताया कि कार्डियोलॉजी में नवाचारः रोगी देखभाल और सफल परिणामों में वृद्धि विषय पर देश के विभिन्न हिस्सों के हृदय रोग विशेषज्ञ चर्चा करेंगे। सम्मेलन में केस स्टडीज के आधार पर पारम्परिक व नवीन तकनीकों की सफलता की समीक्षा की जाएगी। सम्मेलन में चिकित्सा के क्षेत्र में उल्लेखनीय कार्य करने वाले चिकित्सकों का सम्मान भी किया जाएगा।
समिट से आमजन को जोड़ने और जागरूक करने के लिए दिल की बात दिल से सेशन के तहत जुम्बा का आयोजन 4 अगस्त को फतहसागर पर किया जाएगा। जुम्बा सेशन के माध्यम से लोगों को हृदय व शरीर को एक्सरसाईज के माध्यम से स्वस्थ बनाए रखने के बारे में बताया जाएगा । सीपीआर सेशन में इस प्रक्रिया के द्वारा किसी का जीवन बचाने के बारे में विशेषज्ञ टिप्स देंगे। यहां पर हृदय रोगों और अन्य समस्याओं से डरने की बजाय लड़ने की आसान टिप्स मोटिवेशनल स्पीकर डॉ. मोहित गुप्ता, डॉ. अमित खण्डेलवाल और डॉ. दीपेश अग्रवाल देंगे।
डॉ. अमित खण्डेवाल ने बताया कि हर साल होने वाली इस समिट के लिए भारत के विभिन्न क्षेत्रों से 100 से अधिक हृदय रोग विशेषज्ञों ने पंजीयन करवाया है। कांफ्रेस के पहले दिन की शुरूआत ईसीजी क्वीज के साथ होगी। इसके बाद हायपरटेन्शन इन 2024 पर अजमेर के डॉ. विवेक माथुर अपने विचार रखेंगे। कार्डियल बायोमार्कर्स कोरोनरी सिन्ड्रो में मल्टीमार्कर्स की भूमिका पर उदयपुर के डॉ. एस. के. कौशिक संबोधित करेंगे। कोलेस्ट्रॉल के अध्ययन के लिए उपयोग में आने वाले लिपिडोलॉजी पर मुम्बई के डॉ. सुरेश विजन विचार रखेंगे। रक्त और ऑक्सीजन के अभाव वाली इस्केमिक हृदय रोग में पर जोधपुर के डॉ. राहुल चौधरी, नई दिल्ली के डॉ. अनिल धाल, डॉ. सुभाष चन्द्रा, लखनऊ के डॉ ऋषि सेठी अपना व्याख्यान देंगे।
साथ ही डॉ. अमित ने बताया कि एट्रियल फिब्रिलेशन में रेट व रिदम कन्ट्रोल में कौनसी योजना बनायी जाए और कब उपयोग में ली जाए इस पर जयपुर के कुश भगत और नॉवेल ओरल एंटीकोगुलेंट्स के अनुभव और भविष्य में उसके प्रभाव पर मोहाली के डॉ. अरूण कोचर अपने विचार रखेंगे।
हार्ट फैल्योर साधारण से उन्नत में भारतीय क्लिनिकल सेटिंग्स में आरनी की भूमिका में केस आधारित चर्चा होगी जिसमें मोडरेटर डॉ. अमित व डॉ. जयेश खंडेलवाल होंगे। कार्डियोलॉजिस्ट के परिप्रेक्ष्य पर जयपुर के डॉ. जे.एस. मक्कर, सीटीएवीएस परिप्रेक्ष्य पर
बेंगलुरू के डॉ. आदिल सादिक, नेफ्रोलॉजिस्ट परप्रेक्ष्य पर मुम्बई के डॉ. प्रशान्त राजपूत और हार्ट फैल्योर में डिवाइस थैरेपी के भूतकाल, वर्तमान और भविष्य पर नई दिल्ली के पद्म भूषण डॉ. टी.एस. क्लेर अपने विचार रखेंगे। स्ट्रक्चल हृदय बीमरियों में वाल्व में टावी के उपयोग और भविष्य पर नई दिल्ली के डॉ. सुभाष चन्द्रा संबोधित करेंगे। युवाओं में सीएडी के बढ़ते ट्रेण्ड वैश्विक महामारी पर केस आधारित चर्चा डॉ. अमित खण्डेलवाल करेंगे।
सम्मेलन के दूसरे दिन डीवीटी एंड पुल्मोनरी थ्रोम्बोएम्बोलिज़्म पर जयपुर के डॉ. अमित गुप्ता, डायबिटिज व हार्ट विषय पर नई दिल्ली के डॉ. दीपक खण्डेलवाल व प्रवीण कहाले, इस्केमिक हृदय रोग पार्ट बी में जयपुर के डॉ. संदीप मिश्रा, डॉ. संजीव गुप्ता व रूचि गुप्ता, जटिल कोरोनरी इंटरवेंशंस पर नोएडा के पद्मश्री डॉ. डी.एस. गंभीर और कार्डियक अरेस्ट की स्थिति में केस आधारित चर्चा डॉ. अमित खण्डेलवाल, प्रिवेन्टिव कार्डियोलॉजी पर नई दिल्ली के डॉ. मोहित गुप्ता विचार रखेंगे। कार्डियो ओब्स्ट्रेक्टिव पर पैनल डिस्क्शन में डॉ. अमित खण्डेलवाल व डॉ. मोनिका शर्मा मोडरेटर तथा डॉ. राजरानी शर्मा, डॉ. कौशल चुण्डावत, डॉ. सुधा गांधी, डॉ. एस. के. कौशिक, डॉ. संजीव गुप्ता और डॉ. दीपेश अग्रवाल पेनलिस्ट होंगे। हार्ट फैल्योर सिम्पोजियम पार्ट बी में जयपुर के डॉ. दीपेश अग्रवाल और अजमेर के डॉ. विवेक माथुर सम्बोधन देंगे तथा केस प्रस्तुतिकरण भीलवाड़ा के डॉ. पवन ओला, डॉ. सुनील मित्तल, उदयपुर के डॉ. रमेश पटेल, और डॉ. डैनी मंगलानी करेंगे। इको वर्कशॉप के साथ सम्मेलन का समापन होगा।