GMCH STORIES

टेलरिंग एवं अपैरल डिजाइनिंग के क्षेत्र में उध्यमितता कि अपर सम्भावनाये हैं- डॉ कर्नाटक

( Read 579 Times)

01 Jul 25
Share |
Print This Page

टेलरिंग एवं अपैरल डिजाइनिंग के क्षेत्र में उध्यमितता कि अपर सम्भावनाये हैं- डॉ कर्नाटक

Bhadsoda/Udaipur प्रतिष्ठित श्री रतन वृद्धि मोतीलाल मेहता चैरिटेबल ट्रस्ट, भादसोड़ा (जिला चित्तौड़गढ़) में आयोजित "टेलरिंग एवं अपैरल डिजाइनिंग" विषय पर व्यावसायिक प्रशिक्षण कार्यक्रम का समापन समारोह भादसोड़ा ता. भदेसर(चित्तोड़गढ़) में संपन्न हुआ . इस प्रभावशाली कार्यक्रम की संकल्पना एवं आयोजन एमपीयूएटी, उदयपुर के पूर्व कुलपति एवं आईसीएआर के पूर्व उप महानिदेशक (शिक्षा) डॉ. एस.एल. मेहता जी के दूरदर्शी नेतृत्व में किया गया।

कार्यक्रम के मुख्य अतिथि डॉ अजीत कुमार कर्नाटक, कुलपति, महाराणा प्रताप कृषि एवं प्रोद्योगिकी विश्वविद्यालय, उदयपुर ने ग्रामीण बालिकाओं और महिलाओं को प्रशिक्षण को समाप्ति पर बधाई दी। उन्होंने कहा कि टेलरिंग एवं अपैरल डिजाइनिंग के क्षेत्र में उध्यमितता कि अपर सम्भावनाये हैं जो प्रशिक्षण आपने पूरी लगन और मेहनत से पूर्ण किया है उसमे करियर निर्माण और उद्यमिता की ढेर सारी संभावनाएँ हैं। जैसे - फैशन एवं टेक्सटाइल डिज़ाइनर, बुटीक संचालन / उद्यमी, कंप्यूटर आधारित डिज़ाइन में विशेषज्ञता, टेक्सटाइल इंडस्ट्री में गुणवत्ता नियंत्रक , सरकारी योजनाओं में महिला सशक्तिकरण विशेषज्ञ या फैशन कंसल्टेंट इत्यादि का कार्य किया जा सकता है । उन्होंने कहा कि डॉ. एस.एल. मेहता शिक्षा, ग्रामीण उत्थान एवं सामाजिक विकास के प्रति अपने अटूट समर्पण के माध्यम से पीढ़ियों को प्रेरित करते रहते हैं।

इस अवसर पर अकादमिक दिग्गजों की गरिमामयी उपस्थिति ने कार्यक्रम में और भी चार चांद लगा दिए . इस अवसर पर - एमएलएसयू, जीजीटीयू बांसवाड़ा और एमपीयूएटी के पूर्व कुलपति प्रोफेसर आई.वी. त्रिवेदी और एमपीयूएटी, उदयपुर के पूर्व कुलपति प्रोफेसर यू.एस. शर्मा भी उपस्थित थे । उच्च शिक्षा और शासन में उनके विशिष्ट योगदान ने इस कार्यक्रम को और भी समृद्ध बना दिया।

कार्यक्रम के आयोजक डॉ. एस.एल. मेहता ने बताया कि इस प्रशिक्षण में प्रायोगिक प्रशिक्षण दे कर विषय में दक्षता प्रदान कि गयी है। उन्होंने बताया कि इस ट्रस्ट द्वारा विद्यार्थियों के भविष्य निर्माण के लिए यहाँ मीन्स कम मेरिट छात्रवृत्ति, नवोदय स्कूलों में प्रवेश परीक्षा, कंप्यूटर शिक्षा और दक्षता, कम्युनिकेशन, इंग्लिश स्पीकिंग और कैलीग्राफी कि कोचिंग भी दी जाती है जिससे इस क्षेत्र के सैंकड़ो छात्र छात्राए लाभान्वित हुए हैं । इस प्रशिक्षण कार्यक्रम में 40 ग्रामीण बालिकाओं और महिलाओं ने सिलाई और वस्त्र निर्माण का प्रशिक्षण प्राप्त किया, आमंत्रित अतिथियों ने उन्हें प्रशस्ति पत्र भी प्रदान किये ।


Source :
This Article/News is also avaliable in following categories :
Your Comments ! Share Your Openion

You May Like