रिजर्व बैंक ने गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों और माइक्रो फाइनेंस संस्थानों से ऋण लेने वालों के लिए घरेलू आय सीमा एक लाख रुपये से बढ़ाकर सवा लाख रुपये कर दी है। इसका उद्देश्य ग्रामीण क्षेत्रों में आर्थिक रूप से कमजोर लोगों के लिए ऋण व्यवस्था मजबूत करना है। इसी प्रकार शहरी अथवा अर्ध शहरी क्षेत्रों में ऋण की सीमा एक लाख साठ हजार रुपये से बढ़ाकर दो लाख रुपये कर दी गई है।
रिजर्व बैंक ने एक परिपत्र में कहा कि यह निर्णय आर्थिक रूप से सबसे निचले स्तर पर लोगों को ऋण मुहैया कराने और अर्थव्यवस्था में उनका बेहतर योगदान सुनिश्चित करने में माइक्रो फाइनेंस संस्थानों की महत्वपूर्ण भूमिका को ध्यान में रखते हुए लिया गया है।