भीलवाड़ा / जिला कलक्टर राजेन्द्र भट्ट ने शुक्रवार को कलेक्टेªट सभागार में पत्राकार वार्ता को संबोधित करते हुए कहा कि कोरोना वायरस के संक्रमण को लेकर भीलवाड़ा जिला संवेदनशील दौर से गुजर रहा है। जिला प्रशासन इस राष्ट्रीय आपदा के समय में पूरी तरह मुस्तैद है। प्रोटोकोल के अनुसार सारी व्यवस्थाएं सुचारु है। आमजन से अनुरोध है कि वे अपने घर में सुरक्षित रहें एवं कोरोना संक्रमण की चेन को बे्रक करने में अपना महत्वपूर्ण सहयोग प्रदान करें। पत्राकार वार्ता को राज्य के जनस्वास्थ्य निदेशक डाॅ. के.के. शर्मा व जिला पुलिस अधीक्षक हरेन्द्र महावर ने भी संबोधित किया।
जिला कलक्टर ने प्रशासनिक तैयारियों की जानकारी देते हुए बताया कि 13 स्थानों पर आईसोलेटेड 450 बेड की व्यवस्था की गई है। 106 कमरे के पोलीटेक्निक काॅलेज भवन को अधिग्रहित किया गया है जहां आवश्यकता पडने पर एक हजार से अधिक आईसोलेटेड बेड की व्यवस्था की जा सकती है। सभी आवश्यक दवाईयां पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध है। 60 हजार मास्क चिकित्सा विभाग के पास रिजर्व हैं तथा मास्क बनाने वाली स्थानीय फर्म के पास एक लाख का रिजर्व स्टाॅक रखा गया है। शहरी सीमा में कफ्यू लगाकर सभी व्यावसायिक प्रतिष्ठान आदि को बंद करवा दिया गया है ताकि लोग एक दूसरे के संपर्क में न आयें।
जिला कलक्टर ने पत्राकार वार्ता में कहा कि महात्मा गांधी चिकित्सालय में स्थापित आईसोलेशन वार्ड में कुल 25 संदिग्ध कोरोना संक्रमित भर्ती हैं। भीलवाड़ा के दो व्यक्ति एस.एम.एस. जयपुर एवं एक फोर्टीस अस्पताल में भर्ती हैं। अबतक प्राप्त 17 जांच रिपोर्ट में 11 में कोरोना संक्रमण की नेगेटिव रिपोर्ट आई है। छह संक्रमित व्यक्तियों में 3 डाक्टर व 3 कम्पाउण्डर हैं। ये सभी एक निजी चिकित्सालय के कार्मिक हैं। गुरुवार को सूचना मिलते ही निजी चिकित्सालय के आईसीयू को सील कर दिया गया एवं वहां कार्यरत 253 स्टाफ की स्की्रनिंग की गई जिसमें से 24 को संदिग्ध मानते हुए एमजी आईसोलेशन वार्ड में भर्ती कर जांच नमूने जयपुर भेजे गये। इन सभी के परिजनों को होम आईसोलेशन मे ंरखा जा रहा है।
जिला कलक्टर ने कहा कि 22 फरवरी से 19 मार्च तक अस्पताल में 5580 आउटडोर व 613 इण्डोर पेशेन्ट आये। ये मरीज जिले के ग्रामीण ईलाकों एवं अन्य जिलों से भी आये थे। इन सब मरीजों एवं उनके परिजनों तथा संपर्क में आये व्यक्तियों में भी संक्रमण की संभावना को देखते हुए प्रशासन की ओर से व्यापक स्क्रीनिंग की व्यवस्था की गई है। 300 टीमें शहरी सीमा में रहने वाले प्रत्येक परिवार का सर्वे कर रही है। आम नागरिकों से अपील है कि वे अपने परिवार एवं आसपास के व्यक्तियों के बारे में सही एवं सटीक जानकारी दें ताकि संक्रमण का पता चल सके। जानकारी छुपायें नहीं, खुलकर बतायें ताकि आवश्यक कार्यवाही समय पर की जा सके। प्रशासन ने सर्वे के पश्चात् लक्षण पाये जाने वालों को आईसोलेशन में रखने की व्यवस्था की गई है। अन्य जिलों से आये मरीजों की जानकारी संबंधित जिलों को उपलब्ध कराई जा रही है ताकि उनकी वहां पर स्क्रिनिंग हो सके।
आमजन दें जानकारीः
जिला कलक्टर ने जिले के सभी नागरिकों से अपील की है कि वे किसी प्रकार की अफवाहों पर ध्यान न दें और किसी प्रकार के भय व आशंका से ग्रसित न हों। अपने आसपास के ऐसे व्यक्तियों की सूचना प्रशासन को तुरन्त दें जो विदेश से लौटे हों या किसी विदेशी के संपर्क में आये हों या अन्य राज्यों से हाल ही में लौटे हों। ऐसा करने से उनकी स्क्रीनिंग आसानी से की जा सकेगी और संक्रमण पर समय रहते रोकथाम लग सकेगी।
जिले की सीमा सीलः
जिला पुलिस अधीक्षक हरेन्द्र महावर ने बताया कि जिला मस्टिेªट के आदेश की अनुपालना में जहां शहरी क्षेत्रा में कफ्र्यू लगा दिया गया है वहीं जिले की सीमाओं को सील कर दिया गया है। जिले को अन्य जिलों से जोडने वाली मुख्य सडकों पर पुलिस, मेडीकल एवं परिवहन विभाग की संयुक्त टीमें नाकेबंदी कर रही है। कोरोना संक्रमित नहीं होने का चिकित्सकीय प्रमाण पत्रा प्रस्तुत करने के पश्चात् ही जिलेवासी अन्य जिलों में जा सकेंगे। इसी प्रकार ऐसा ही प्रमाण पत्रा प्रस्तुत करने पर अन्य जिलो ंके निवासी भीलवाडा जिले की सीमा में प्रवेश कर पायेंगे। इस पूरी कवायद का उद्देश्य संभावित संक्रमण को जिले की सीमा से बाहर फैलने से रोकना है। जिले से चलने वाली राज्य परिवहन एवं निजी बस सेवाओं को स्थगित कर दिया गया है एवं अन्य जिलों से बसों के प्रवेश पर भी पाबंदी लगा दी गई है। शनिवार से रेलवे स्टेशन पर थर्मल चैकिंग की सुविधा उपलब्ध हो जायेगी।