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डिजिटल डिटॉक्स और आन्तरिक शांति आज की सबसे महत्त्वपूर्ण आवश्यकता: दत्ता रोकड़े

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02 Dec 24
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डिजिटल डिटॉक्स और आन्तरिक शांति आज की सबसे महत्त्वपूर्ण आवश्यकता: दत्ता रोकड़े

उदयपुरबीएन कॉलेज ऑफ  फार्मेसी  में दत्ता रोकड़े जो  ब्रह्मकुमारी संस्था, पुणे के अनुभवी पर्सनल एम्पावरमेंट कोच और कॉर्पोरेट फैसिलिटेटर, ने आंतरिक शांति, अद्वितीय स्वास्थ्य और सुखमय सफलता  कैसे प्राप्त करे के बारे में विद्यार्थियों को ”मेडिटेशन लैबोरेटरी” कार्यक्रम से बताया। दत्ता ने आंतरिक महानता और असीमित क्षमता को पहचानने और उसे साकार करने में भी बहुत सी राजयोग क्रियाओं के माध्यम से समझाया। दत्ता ने ”हीलिंग हार्ट्स - 90 डेज ऑफ सेल्फ-रिफ्लेक्शन” पुस्तक भी लिखी हैं, जो व्यक्तिगत विकास और आत्म-साक्षात्कार की दिशा में एक प्रेरणादायक मार्गदर्शन प्रदान करती है। दत्ता रोकड़े ने डिजिटल डिटॉक्स, पॉजिटिव थिंकिंग, सेल्फ-अवेयरनेस, और इमोशनल इंटेलिजेंस जैसे विषयों को कवर किया और इस विशेष कैप्सूल सत्र में स्ट्रेस मैनेजमेंट, गोल सेटिंग, क्रिएटिव थिंकिंग, और वर्क-लाइफ बैलेंस जैसे महत्वपूर्ण  विषयों पर सबको मह्त्वपूर्ण जानकारीयाँ प्रदान की और  विद्यार्थियों से आव्हान किया के जीवन मे सकारात्मकता  अपनाये जिससे जीवन में एक ऊर्जावान, व्यक्तिगत और गहन अनुभव होता है जो लोगों को आत्म-साक्षात्कार की ओर प्रेरित करता है। दत्ता रोकड़े का मंच पर प्राचार्य डॉ युवराज सिंह सारंगदेवोत और  डॉ एम ऐस राणावत ने स्वागत किया और मंच का संचालन डॉ कमल सिंह  राठौड़ ने किया. इस अवसर पर डॉक्टर ऑफ फार्मेसी के विद्यार्थियों के साथ गीतांजली फार्मेसी के प्राचार्य डॉ महेंद्र सिंह राठौड़, उदयपुर ब्रह्मकुमारी से इंजीनियर विक्रम, डॉ जय सिंह वाघेला, डॉ  डॉ प्रदीप गोयल, डॉ भक्त राज सिंह चौहान, डॉ ऋषि माहेश्वरी, डॉ वनशिका आदि उपस्थित थे। अंत में विद्यार्थियों की जिज्ञासाओं का भी समाधान किया गया .


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