उदयपुर। ब्रेन के टीबी के कारण चार साल का मासूम करीब सवा महीने कोमा में रहने के बाद वापस होश में आ गया है। जीबीएच जनरल हॉस्पिटल, बेडवास में उसका उपचार निःशुल्क किया गया है। ग्रुप डायरेक्टर डॉ. आनंद झा ने बताया कि भीलवाडा के एक मासूम को वेंटीलेटर पर लेकर परिजन करीब २८ दिन पहले यहां पहुंचे थे। ब्रेन में टीबी होने से बच्चे को हाइड्रोसेफलेस (सिर में पानी भरना) हो गया था। इसके कारण मासूम कोमा में चला गया था। करीब दस दिन भीलवाडा में उपचार के बाद परिजन उसे गंभीर हालत में लेकर यहां पहुंचे थे। यहां जीबीएच जनरल हॉस्पिटल में न्यूरोसर्जन डॉ. अजीतसिंह, वरदान कुलश्रेष्ठ ने उसे देखकर शिशु आईसीयू में भर्ती किया था। सभी जांचों के बाद मासूम की गंभीर स्थिति को देखते हुए उसकी सर्जरी प्लान की गई। उसे वीपी शंट करके टीबी के कारण सिर में भरा पानी निकालते हुए आईसीयू मैनेज किया। यहां २०वें दिन मासूम कोमा से बाहर आ गया। २८वें दिन मासूम को वेंटीलेटर से हटा दिया गया। इसका न्यूरोसर्जन डॉ. अजीतसिंह, न्यूरोसर्जन डॉ. वरदान कुलश्रेष्ठ, शिशु रोग विशेषज्ञ डॉ. नरेंद्र पीपलीवाल, डॉ. रवींद्रकुमार की टीम ने उपचार किया। अब वह फिर से अपने माता-पिता और परिजनों को पहचानने लगा है और खाना भी खाने लगा है। शनिवार को इस मासूम को डिस्चार्ज कर दिया गया। डॉ. झा ने बताया कि मासूम का उपचार भामाशाह बीमा योजना में पूरी तरह निःशुल्क किया गया।
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