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कानून हमारे जीवन का अभिन्न अंग है-

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17 Feb 18
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झालावाड़ । जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के अध्यक्ष (जिला एवं सेशन न्यायाधीश) डॉ. राजेन्द्र सिंह चौधरी ने शुक्रवार को केन्द्रीय विद्यालय झालावाड़ में विधिक साक्षरता क्लब का विधिवत फीता काटकर शुभारम्भ किया। जिला एवं सेशन न्यायाधीश ने कार्यक्रम में संबोधित करते हुए कहा कि जिस प्रकार सांस लेने के लिए ऑक्सिजन, प्रकाश के लिए सूर्य और प्यास बुझाने के लिए पानी की आवश्यकता होती है उसी प्रकार कानून भी हमारे जीवन का अभिन्न अंग है। जीवन को नियंत्रित एवं संयमित करने के लिए कानून की आवश्यकता पड़ती है। कानून हमारे साथ हर समय चौबिसों घण्टे रहता है। उन्होंने कहा कि तथ्य की भूल माफी योग्य है पर कानून की भूल माफी योग्य नहीं है। कानून ऐसी परम शक्ति है जिसे कोई नकार नहीं सकता है। उन्होंने कहा कि मजबूत समाज से ही मजबूत राष्ट्र का निर्माण होता है। उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण द्वारा देश के प्रत्येक जिले के 5 विद्यालयों में विधिक साक्षरता क्लब स्थापित करने का निर्णय लिया गया था इसी क्रम में झालावाड़ में भी जिला विधिक सेवा प्राधिकरण द्वारा जिले के 5 विद्यालयों में विधिक साक्षरता क्लब स्थापित किए गए हैं। उन्होंने कहा कि यह विधिक साक्षरता क्लब विद्यार्थियों के लिए करियर निर्माण के साथ-साथ जीवन निर्माण के केन्द्र भी साबित होंगे। उन्होंने कहा कि एक विद्यालय पर जिला विधिक सेवा प्राधिकरण द्वारा करीब 10 हजार रुपए की किताबों के साथ-साथ फर्नीचर एवं कम्प्यूटर की व्यवस्था होगी। उन्होंने कहा कि विद्यार्थी ही इन क्लबों के सदस्य होंगे और इनके माध्यम से बच्चे देश की सम्पूर्ण न्याय व्यवस्था की जानकारी प्राप्त कर सकेंगे। उन्होंने बच्चों के साथ-साथ विद्यालय स्टाफ के प्रत्येक सदस्य को कानूनी जानकारी क्लबों के माध्यम से ग्रहण करने की सलाह दी है। फैमेली कोर्ट जज पारस जैन ने कहा कि पूर्व में विधिक साक्षरता कार्यक्रम युवाओं के लिए आयोजित किए जाते रहे हैं परन्तु अब प्राधिकरण द्वारा बच्चों को कानूनी जानकारी उपलब्ध करवाने का निर्णय लिया गया है ताकि सभी बच्चे अपने अधिकारों एवं कर्तव्यों के बारे में जानकारी प्राप्त कर देश के अच्छे नागरिक बन सके। जिला कलक्टर डॉ. जितेन्द्र कुमार सोनी ने कहा कि बढ़ते बाल अपराध को ध्यान में रखते हुए विधिक साक्षरता क्लब विद्यालयों में स्थापित करने की महती आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि विद्यालयों में नियमित रूप से बच्चों के लिए विधिक परिचर्चा रखी जाए। विद्यार्थियों को कानून की जानकारी देने के लिए स्कूल, ब्लॉक एवं जिला स्तर पर विधिक प्रश्नोत्तरी कार्यक्रम आयोजित किए जाएं। विधिक जागरूकता परीक्षा जुलाई माह में आयोजित की जाए। उन्होंने विद्यार्थियों से कहा कि वे क्लबों के माध्यम से विधि की जानकारी प्राप्त करें और उसे अपने परिजनों, पडोैसियों तथा अन्य बच्चों से भी अवश्य साझा करें। उन्हांेने कहा कि बाल अपराध रोकने के लिए सम्पूर्ण विद्यालयों में इनाया फाउण्डेशन के माध्यम से गुड टच और बेड टच की कार्यशालाएं 22 फरवरी से आयोजित की जाएंगी।
जिला पुलिस अधीक्षक आनन्द शर्मा ने कहा कि प्रकृति नियमों से बंधी है उसी प्रकार मानव जीवन भी नियमों से बंधा हुआ है। उन्होंने विद्यार्थियों से कहा कि वे अपने अधिकारों एवं कर्तव्यों के बारे में जाने और उन्हें कुछ गलत होता दिखता है तो उसकी खुल कर बात करें। उन्होंने कहा कि दुपहिया वाहनों को चलाते समय यातायात के नियमों का पालन करें एवं हेलमेट का प्रयोग करें।
कार्यक्रम में केन्द्रीय विद्यालय के प्रिन्सीपल जी.आर. मीणा ने स्वागत भाषण प्रस्तुत किया। विद्यालय में स्थापित विधिक साक्षरता क्लब के प्रभारी रोहिताश मीणा को बनाया गया। इस दौरान जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के पूर्णकालिक सचिव हनुमान सहाय जाट, डीएफओ रामचन्द्र सिंह ओगरा, लोक अभियोजक शैलेन्द्र सिंह पंवार, बार अध्यक्ष मुकेश जैन सहित केन्द्रीय विद्यालय के शिक्षक व छात्र-छात्राए उपस्थित थे। इस मौके पर अतिथियों द्वारा विद्यालय परिसर में पौधारोपण भी किया गया। -
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