GMCH STORIES

एमपीयूएटी प्रबन्ध मण्डल की 52वीं बैठक सम्पन्न

( Read 7290 Times)

01 Dec 19
Share |
Print This Page
एमपीयूएटी प्रबन्ध मण्डल की 52वीं बैठक सम्पन्न

उदयपुर,  महाराणा प्रताप कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय, उदयपुर की प्रबन्ध मण्डल की 52वीं बैठक रविवार, 1 दिसम्बर, 2019 को विश्वविद्यालय के कुलपति सचिवालय में प्रातः 9.30 बजे आयोजित की गई। बैठक की अध्यक्षता एमपीयूएटी के माननीय कुलपति डाॅ. नरेन्द्र सिंह राठौड़ ने की। 

बैठक में प्रबंध मण्डल के सदस्य माननीय विधायक श्री गजेन्द्र सिंह शक्तावत, महिला सामाजिक कार्यकर्ता के रूप में श्रीमती सज्जन देवी कटारा, सेवानिवृत्त अधिष्ठाता व शिक्षाविद् डा. एस. आर. मालू, शिक्षाविद् डा. आर. सी. तिवारी, प्रगतिशील कृषक श्री विष्णु पारीक, कृषि उद्यमी श्री जगदीश भण्डारी, प्रमुख सचिव कृषि एवं वित्त के प्रतिनिधि श्री संदीप चारण, अनुसंधान निदेशक डाॅ. अभय कुमार मेहता, डाॅ. सुबोध शर्मा तथा कविता पाठक, कुलसचिव उपस्थित रहे।

बैठक में प्रख्यात कृषिविद् प्रो. पंजाब सिंह, माननीय कुलपति, रानी लक्ष्मी बाई केंद्रीय कृषि विश्वविद्यालय झांसी एवं पूर्व महानिदेशक भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद को डॉक्टर ऑफ साइंस की मानद् उपाधि प्रदान करने की सहमति भी हुई। इस अवसर पर पूर्व कुलपति महाराणा प्रताप कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय एवं पूर्व अध्यक्ष कृषि वैज्ञानिक चयन मण्डल प्रो. ए.एस. फरोदा को विशिष्ट व्याख्यान हेतु दीक्षांत समारोह में आमंत्रित किये जाने के प्रस्ताव का अनुमोदन किया गया।  

बैठक का आयोजन मुख्यतः आगामी 13वें दीक्षांत समारोह में प्रदान की जाने वाली उपाधियों का अनुमोदन करने की दृष्टि से किया गया। उल्लेखनीय है कि आगामी 23 दिसंबर को महाराणा प्रताप कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय के 13वें दीक्षांत समारोह का आयोजन उदयपुर में किया जाना है जिसमें माननीय राज्यपाल महोदय मुख्य अतिथि रहेंगे।

 

बैठक में मूल रूप से निम्न बिंदुओं पर चर्चा एवं अनुमोदन हुआ-

1. बैठक के प्रारम्भ में 20 अगस्त को आयोजित प्रबन्ध मण्डल की पिछली बैठक में लिए गए निर्णयों एवं कार्यपालनाओं की पुष्टि की गई।

2. दिनांक 21 नवम्बर को आयोजित अकादमिक परिषद की अनुपालना रिपोर्ट पर चर्चा एवं अनुमोदन हुआ जिसमें शोध की गुणवत्ता निश्चित करते हुए यूजीसी के मापदंड अनुसार पीजी एवं पीएचडी शोध ग्रंथों को प्रस्तुत करने से पूर्व एंटी प्लेगियारिस्म सॉफ्टवेयर के मापदंडों को लागू किया गया था।

3. साथ ही अकादमिक गुणवत्ता को सुनिश्चित करने हेतु अकादमिक सत्र 2018-19 एवं बाद के पीएच.डी. शोधग्रंथों की प्रस्तुति हेतु नास रेटिंग 6 एवं अधिक अथवा स्कूप्स इंडेक्स अथवा यूजीसी केयर लिस्ट ग्रुप ए,बी,सी अथवा डी इत्यादि इंडेक्स के स्तरीय शोध प्रकाशनों अथवा जर्नल्स में प्रकाशित दो आलेख एवं दो राष्ट्रीय/अंतर्राष्ट्रीय सम्मेलन में प्रस्तुत शोध आलेखों को आवश्यक किया गया है। 

4. बैठक में राजस्थान कृषि महाविद्यालय द्वारा प्रस्तावित नर्सरी पौधशाला प्रबंधन एवं बागवानी विषय पर प्रमाण पत्र प्रारंभ करने के प्रस्ताव का अनुमोदन करते हुए गुणवत्तापूर्ण पाठ्यक्रम, स्वरोजगार को बढ़ावा देने दक्षता व कौशल विकास के लिए सुगठित पाठ्यक्रम बनाने और प्रायोगिक शिक्षा पर जोर दिया। 

 

5. बैठक में अकादमिक परिषद द्वारा प्रस्तावित निदेशक आवासीय निर्देशन के स्तर पर कृषि इंजीनियरिंग एवं समुदाय विज्ञान संकाय के 24 अध्यापकों को स्नातकोत्तर एवं पीएचडी शिक्षण एवं शोध निर्देशन की अनुमति भी प्रदान की।

6. बैठक में दीक्षांत समारोह में 687 स्नातक उपाधियां प्रदान करने की अनुमति प्रदान की गई जिसमें कृषि संकाय की 194, इंजीनियरिंग और प्रौद्योगिकी संकाय की 390, गृह विज्ञान संकाय की 21, डेयरी एवं खाद्य विज्ञान तकनीकी संकाय की 56 तथा मत्स्यकी संकाय की 26 उपाधियों सम्मिलित हैं।

7. इसी प्रकार 148 स्नातकोत्तर उपाधियां प्रदान करने की अनुमति प्रदान की गई जिनमें कृषि संकाय की 61, इंजीनियरिंग संकाय की 60, गृह विज्ञान एवं सामुदायिक विज्ञान की 22 तथा मत्स्यकी संकाय की 5 उपाधियाँ सम्मिलित हैं।

8. अकादमी परिषद की बैठक में 65 विद्यार्थियों को पीएचडी की उपाधि प्रदान करने की अनुमति भी प्रदान की गई जिनमें सर्वाधिक 25 उपाधियाँ कृषि संकाय एवं 22 उपाधियां इंजीनियरिंग संकाय, दो उपाधियां मत्स्य की एवं 16 उपाधियां गृह विज्ञान तथा समुदाय विज्ञान महाविद्यालय की है।

9. बैठक में विभिन्न संकायों के विद्यार्थियों को स्वर्ण पदक प्रदान करने की अनुमति भी प्रदान की गई। उल्लेखनीय है कि विभिन्न संकाय में 13 विद्यार्थियों को स्नातक स्तर पर, 20 विद्यार्थियों को स्नातकोत्तर स्तर पर एवं 4 विद्यार्थियों को पीएचडी स्तर पर विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक प्रदान किए जाएंगे। इसके साथ ही स्नातक एवं स्नातकोत्तर के लिए 01-01 स्वर्ण पदक जैन इरिगेशन द्वारा प्रदान किया जाता है। 

10. इस वर्ष कुलाधिपति स्वर्ण पदक समुदाय विज्ञान महाविद्यालय की छात्रा कविता भट्ट को प्रदान किये जाने के प्रस्ताव का अनुमोदन किया गया।

11. बैठक के दौरान एमपीयूएटी के पेंशनर्स की पेंशन व्यवस्था पर भी चर्चा हुई एवं इस हेतु प्रबंध मण्डल के माननीय सदस्यों एवं पेंशनर्स एसोशिएशन के साझा प्रयास से राज्य सरकार को अपनी समस्या बताने का प्रस्ताव भी पारित किया गया। 

12. प्रबंध मण्डल की बैठक के प्रारंभ में माननीय कुलपति डाॅ. नरेंद्र सिंह राठौड़ ने हाल ही में राजभवन में आयोजित बैठक का हवाला देते हुए माननीय कुलाधिपति श्री कलराज मिश्र द्वारा प्रस्तावित कृषि शिक्षा में उत्कृष्टता की दृष्टि से इन्नोवेटिव आईडियाज, परंपरागत तकनीक, नवाचार, रोजगार उन्मुख कार्यक्रम, कौशल विकास के जरिए विद्यार्थियों एवं विश्वविद्यालय की सार्थक पहचान बनाने के प्रयास करने की सलाह दी। उन्होंने वल्लभनगर के कृषि विकास को देखते हुए वल्लभनगर कृषि विज्ञान केन्द्र को माॅडल कृषि विज्ञान केन्द्र के रूप में विकसित किए जाने एवं इस हेतु एक रोड़ मेप तैयार करने के लिए गठित विशिष्ट कमेटी से भी सदन को अवगत करवाया। बैठक का संचालन कुलसचिव श्रीमती कविता पाठक ने किया एवं धन्यवाद प्रस्ताव अनुसंधान निदेशक प्रोफेसर अभय कुमार मेहता ने ज्ञापित किया।

 


Source :
This Article/News is also avaliable in following categories : Udaipur News
Your Comments ! Share Your Openion

You May Like