चित्तौडगढ ग्रामीण जन समुदाय में एक बार उपयोग में लायी गई प्लास्टिक की थैलियों का उपयोग नही करने के प्रति जागरूकता लाने के उद्धेष्य से हिन्दुस्तान जिंक एवं मंजरी फाउण्डेशन के संयुक्त तत्वाधान में संचालित सखी कार्यालय पर जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया गया । हिन्दुस्तान जिंक एवं मंजरी फाउण्डेशन के संयुक्त तत्वाधान में संचालित सखी परियोजना में गठित सखी संगम फेडरेशन की मासिक बैठक में चंदेरिया लेड जिंक स्मेल्टर की पर्यावरण अधिकारी मनीशा भाटी ने उपस्थित २८ सखी महिलाओं को प्लास्टिक के दैनिक उपयोग से मानवजीवन पर होने वाले घातक प्रभावों को बताया । महिलाएं प्लास्टिक की थैलियॉ बोटलें और प्लास्टिक से बनी सामान और सामग्रियों के उपयोग धीरें -धीरे बंद करके हमारे परिवार ,समाज और भावी पीडी को स्वच्छ और स्वस्थ जलवायु की विरासत दे सकते है इस हेतु विस्तृत जानकारी दी गई।
प्लास्टिक का उपयोग कम करना प्लास्टिक के स्थान पर कपडे के बने थैलों का उपयोंग करना अपषिश्ट को प्लास्टिक में न फैंकना और प्लास्टिक का उचित निस्तारण करने से ही हम पृथ्वी को जल और थल पर विद्यमान जीव जन्तुओं के लिये स्वच्छ और सुरक्षित बना सकते है । क्ार्यक्रम में प्लास्टिक का उपयोग न करने के लिये प्रोत्साहित करने हेतु नगरी, गणेशपुरा, पांडोली, आजोलिया का खेडा ,मुंगा का खेडा पंचदेवला ,रोलाहेडा ,कष्मोर नरपत की खेडी चोगावडी और पुठोली सहित २० गावों के सखी ग्राम संगठनों की मुखिया को कपडे के थैले भी वितरित किये गये । कार्यक्रम में प्रबंधक सीएसआर अरूणा चीता, मंजरी फाउण्डेशन टीम कार्यक्रम प्रबंधक अजय कुमार और मनीशा भाटी द्वारा सोना ग्राम संगठन को ८० हजार का चेक बतौर ऋण दिया गया । मंजरी फाउण्डेशन टीम से नागेन्द्र , भावना वैश्णव और धापू जाट षामिल हुए।