उपखण्ड क्षेत्र जैसलमेर की लगभग 17 हजार बीघा

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Published on : 15 Oct, 25 05:10

उपखण्ड क्षेत्र जैसलमेर की लगभग 17 हजार बीघा

भूमि ओरण प्रयोजनार्थ स्वीकृति के लिए राज्य सरकार को भिजवाई

जिला प्रशासन का ओरण को राजस्व रिकॉर्ड में इन्द्राज के लिए ऐतिहासिक कदम

सतत रूप से जारी रहेगी प्रक्रियासर्वे के साथ राजस्व रिकॉर्ड में दर्ज की जायेगी ऐसी भूमि

जैसलमेर जिला प्रशासन जैसलमेर द्वारा पारंपरिकधार्मिक एवं पर्यावरणीय दृष्टि से अत्यंत महत्त्वपूर्ण ओरण भूमि के संरक्षण के लिए व्यापक एवं व्यवस्थित अभियान चलाया जा रहा है  जिला कलक्टर प्रताप सिंह के नेतृत्व एवं निर्देशन में इस दिशा में ऐतिहासिक कदम उठाए जा रहे हैं।

          जिले में तालाबनाडीआगोरनदी-नालाकैचमेंट एरिया सहित ओरण भूमि का राजस्व विभाग की टीमों द्वारा विस्तृत सर्वेक्षण कार्य किया जा रहा है। इस सर्वेक्षण के आधार पर संबंधित भूमि के प्रस्ताव तैयार कर जिला प्रशासन की अनुशंसा सहित राज्य सरकार को राजस्व रिकॉर्ड में इन्द्राज के लिए भिजवाएं जा रहे हैं।

           उपखण्ड क्षेत्र जैसलमेर में अब तक सर्वेक्षण के दौरान श्री वीर शिरोमणी आलाजी झुझार ओरण पटवार मण्डल पूनमनगरराजस्व ग्राम दिलावर का गाँवश्री वीर शिरोमणी आलाजी झुझार ओरण राजस्व ग्राम कुछड़ीमां स्वांगिया राय ओरण ग्राम पूनमनगरफतेहगढ़ क्षेत्र के राजस्व ग्राम भीमसर एवं बिंजोता की लगभग 17 हजार बीघा से अधिक भूमि को ओरण प्रयोजनार्थ प्रस्तावित कर जिला कलक्टर की अनुशंसा सहित राज्य सरकार को स्वीकृति के लिए भिजवाया गया है।

          उपखण्ड अधिकारी सक्षम गोयल ने बताया कि पारंपरिक रूप से पूजनीय ओरण स्थलों के संरक्षण एवं सीमांकन के लिए राजस्व रिकॉर्ड के अनुरूप स्थल निरीक्षण कर प्रस्ताव तैयार किए गए हैं। यह कार्यवाही ओरणदेववन एवं पर्यावरणीय संरचनाओं के पुनर्जीवन की दिशा में जिला प्रशासन का ठोस कदम है। इस पहल से  केवल धार्मिक आस्था से जुड़े पवित्र स्थलों की सुरक्षा सुनिश्चित होगीबल्कि स्थानीय पारिस्थितिक संतुलनजैव विविधता एवं जल संरक्षण को भी सशक्त आधार मिलेगा।

          जिला प्रशासन ने यह भी स्पष्ट किया है कि ओरणदेववनगोचरआगोरतालाबनाडी एवं पारंपरिक जल स्त्रोतों की भूमि पर किसी भी प्रकार का अतिक्रमण बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। इस दिशा में निरंतर कड़ी कार्रवाई जारी रहेगी ताकि जैसलमेर की समृद्ध प्राकृतिक एवं सांस्कृतिक विरासत को सुरक्षित रखा जा सके।


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