अब प्रो. ढाका की नियुक्ति भी संदेह के घेरे में 

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Published on : 07 May, 22 11:05

अब प्रो. ढाका की नियुक्ति भी संदेह के घेरे में 

उदयपुर | लगता है सुविवि में पिछले कुलपति द्वारा की गई नियुक्तियां एक के बाद एक संदेह के घेरे में आ गई है | प्रो. M.S. ढाका सहआचार्य भौतिक विज्ञान के पद पर हुई नियुक्ति में अकादमीक योग्यताओं को दर किनार करने संबंधित सनसनी खेज टिप्पणी अधिष्ठाता विज्ञान संकाय ने विगत 7 मार्च को कुलपति को प्रस्तुत की है टिप्पणी में अंकित तथ्य इस बात की पुष्टि करते है कि स्क्रीनिंग कमेटी और चयन समिति में दस्तावेजो का सघन विश्लेषण नहीं किया | डॉ.ढाका ने 2010 में सहआचार्य पद के लिए अपना आवेदन नवंबर 2010 किया | इस आवेदन में विवि अनुदान आयोग द्वारा निर्धारित न्यूनतम योग्यताए श्री ढाका के पास नहीं थी | UGC रेगुलेशन एक्ट 2010 के सेक्शन 4.30 में सहआचार्य के लिए PHD उपाधि मय मास्टर डिग्री 55% होने के साथ साथ 8 वर्ष का अध्यापन अनुभव 5 प्रकाशन एक पुस्तक एवं कम से कम एक शोधार्थी के लिए गाइड के रूप में परिक्षण अनिवार्य बताया गया |
अधिष्ठाता ने अपने प्रतिवेदन ने अंकित किया है कि सहआचार्य (स्टेज 4) पद हेतु केटेगरी 3rd के अन्तर्गत API स्कोर 300 पॉइंट आवश्यक है पर उपलब्ध अभिलेग के आधार पर इनका  API स्कोर 194 पाया गया है जो की न्यूनतम आवश्यकता 300 से कम है | UGC – रेगुलेशन – 2010 की आवश्यकता अनुसार इनके पास “Evidence of Having Guided Doctoral Candidates and Research Students” भी उपलब्ध नहीं है 
 


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