डॉ. हर्ष वर्धन ने विश्व स्वास्थ्य दिवस पर विश्व स्वास्थ्य संगठन को संबोधित किया

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Published on : 07 Apr, 21 11:04

वैक्सीन मैत्री के पीछे भारत का वसुधैव कुटुंबकम का पुरातन दर्शन समूचा विश्व एक परिवार का द्योतक है-डॉ.हर्ष वर्धन

डॉ. हर्ष वर्धन ने विश्व स्वास्थ्य दिवस पर विश्व स्वास्थ्य संगठन को संबोधित किया

नई दिल्ली  (नीति गोपेन्द्र भट्ट) |  केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री डॉ हर्ष वर्धन ने कहा है कि हमें कोविड-19 से मिली सीख को व्यर्थ नहीं जाने देना चाहिए, क्योंकि इससे स्वास्थ्य नीतियों में दूरदर्शी परिवर्तन सामने आए हैं।इस अद्वितीय दौर में कोविड-19 के प्रति भारत की कार्रवाई और वैश्विक सहयोग को बढ़ाने में नेतृत्व की भूमिका इस दृष्टिकोण का एक उदाहरण है।

विश्व स्वास्थ्य दिवस के अवसर पर विश्व स्वास्थ्य संगठन दक्षिण पूर्व एशिया क्षेत्रीय कार्यालय को आज वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए संबोधित करते हुए डॉ हर्ष वर्धन ने कहा कि विश्व स्वास्थ्य संगठन ने वैश्विक समुदाय द्वारा मिलकर महामारी के खिलाफ जंग का एक वर्ष पूरा किया है। इस महामारी से निपटने के लिए भारत ने अंतर्राष्ट्रीय समुदाय के साथ मिलकर काम किया है।
मेड-इन-इंडिया कोविड-19 वैक्सीन हमारी वैक्सीन मैत्री पहल के माध्यम से 80 से अधिक देशों को दी जा रही हैं,यह विश्व भर में वैक्सीन वितरण में असमानता को दूर करने की दिशा में एक प्रमुख कदम है। यह ‘वसुधैव कुटुम्बकम’ के  भारत दर्शन ‘समूचा विश्व एक परिवार है’ का द्योतक है। हमने सदैव इसमें विश्वास किया है और हमारी कार्रवाई इसी तथ्य को स्पष्ट करती है। आज विश्व इस दर्शन को अपना रहा है और यह एक अनुकूल और स्वस्थ विश्व की दिशा में हमारी प्रगति में तेजी लाएगा।

उन्होंने कहा कि इस वर्ष के लिए चुना गया विषय- प्रत्येक व्यक्ति के लिए एक अनुकूल और स्वस्थ विश्व बनाना है, यह हमारे सबके लिए समुचित है कि हम सब मिलकर यह सुनिश्चत करें कि हमारी नीतियां, कार्यक्रम और कार्रवाई सबके लिए स्वस्थ भविष्य की दिशा मे मार्गदर्शक बनें। उन्होंने कहा कि यह अधिक स्पष्ट हो गया है कि किसी भी जनसंख्या के लिए समाज में वस्तुओं और सेवाओं तक उचित पहुंच मूल रूप से निर्भर करती है। स्वास्थ्य में समानता और सामाजिक न्याय आपस में जुड़े हैं।
पिछले वर्ष ने हमें समझाया कि सामाजिक आर्थिक स्थिति के बगैर प्रत्येक नागरिक को रोकथाम और उपचार तक की स्वास्थ्य सेवाओं तक सार्वभौमिक पहुंच सुनिश्चित करने की आवश्यकता है।

डॉ.हर्ष वर्धन ने कहा कि प्रभावी सार्वजनिक जोखिम संचार से गैर-कोविड आवश्यक स्वास्थ्य सेवाओं को सुनिश्चित करने तक, वैक्सीन तक तेजी से पहुंच के लिए भारत और वैश्विक समुदाय ने यह प्रदर्शित किया है कि प्रभावी भागीदारी के साथ अत्यंत उपेक्षित लोगों तक पहुंच पर एकाग्र फोकस दिए जाने से सीमाओं की बाधा समाप्त होगी और हमें सार्वभौमिक स्वास्थ्य कवरेज के समीप ले जाएगी।

उन्होंने कहा कि विश्व स्वास्थ्य दिवस 2021 के अवसर पर मैं भारत सरकार की ओर से फिर से स्पष्ट करना चाहता हूं कि सभी लोगों और सभी समुदायों को जहां और जब आवश्यक हो ऐसी गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सेवाओं तक बिना किसी वित्तीय कठिनाई के पहुंच सुनिश्चित करने की हमारी प्रतिबद्धता हमें एक अनुकूल और स्वस्थ विश्व विकसित करने की दिशा में आगे ले जाएगी।


डॉ.हर्ष वर्धन ने कहा कि आज आयोजित कार्यक्रम सबके लिए स्वास्थ्य सुनिश्चित करने वाली लचीली स्वास्थ्य प्रणाली विकसित करने के प्रति हमारे मंत्रालय और विश्व स्वास्थ्य संगठन की संयुक्त प्रतिबद्धता व्यक्त करता है। प्राथमिक स्वास्थ्य सेवाओं की सशक्त बुनियाद पर आधारित सार्वभौमिक स्वास्थ्य कवरेज प्रदान करना यह सुनिश्चित करता है कि उपचार के लिए प्रोत्साहक और रोकथाम, पुनर्वास और पीड़ाहरण सेवाओं सहित लोगों को व्यापक देखभाल की पहुंच हो।

उन्होंने कहा कि भारत ने इसी तरह अपना महत्वपूर्ण आयुष्मान भारत कार्यक्रम लागू किया है, जिसके दो घटक हैं।
पहले घटक के अंतर्गत व्यापक प्राथमिक स्वास्थ्य सेवाएं प्रदान करने के साथ स्वास्थ्य को बढ़ावा देने, रोग की रोकथाम और सामाजिक विकास के लिए बहुक्षेत्रीय कार्रवाई पर नागरिकों की सक्रिय भागीदारी पर फोकस देना है, जिसके लिए एक लाख 50 हजार स्वास्थ्य और आरोग्य केन्द्र स्थापित किए जा रहे हैं। दूसरा घटक प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना है, जो द्वितीयक और तृतीयक स्वास्थ्य सेवाओं के लिए प्रति वर्ष प्रति परिवार को 5 लाख रुपये का नकदी रहित कवर प्रदान करता है।

डॉ हर्ष वर्धन ने कहा कि 50 करोड़ से अधिक नागरिकों के लिए द्वितीयक और तृतीयक स्वास्थ्य सेवाओं तक पहुंच का आश्वासन स्वास्थ्य सेवाओं के समान प्रावधान की दिशा में एक उल्लेखनीय कदम है।स्वस्थ भारत और इसी तरह स्वस्थ विश्व विकसित करने में आ रही असमानता को दूर करने के लिए हमें अधिक संगठित और केन्द्रित कार्रवाई करने की आवश्यकता है।
विश्व स्वास्थ्य संगठन ने मिलकर काम करने, विश्वसनीय डेटा संकलन, असमानता से निपटने और सीमाओं से आगे कार्रवाई करने का आह्वान किया है।
कार्यक्रम में उन्होंने सम्पूर्ण विश्व समुदाय के  बेहतर स्वास्थ्य के लिए अपनी शुभकामनाएं प्रेषित की ।

 


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