राज्य स्तरीय बाल विज्ञान काँग्रेस २०१९ का शुभारम्भ

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Published on : 07 Dec, 19 14:12

राज्य स्तरीय बाल विज्ञान काँग्रेस २०१९ का शुभारम्भ

 

उदयपुर | पेसिफिक युनिवर्सिटी उदयपुर में विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग राजस्थान सरकार के सहयोग से दो दिवसीय राज्य स्तरीय बाल विज्ञान कांग्रेस 2019 का शुभारम्भ प्रो . आर. ए. गुप्ता, कुलपति,राजस्थान तकनीकी विश्वविद्यालय, कोटा के मुख्य आतिथ्य में द्धीप प्रज्वलन के साथ किया गया |

पेसिफिक युनिवर्सिटी उदयपुर की और से संस्थान के रजिस्ट्रार शरद कोठारी , डीन पी जी हेमंत कोठारी, डीन एकेडेमिक्स श्री के के दवे, डायरेक्टर फैकल्टी ऑफ़ इंजीनियरिंग पियुष जावेरिया उपस्थित रहे | कार्यक्रम में भाग लेने के लिए विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग की और से डॉ. साधना माथुर , प्रोजेक्ट डायरेक्टर डी. एस टी जयपुर, परियोजना अधिकारी श्री मनीष जैन, श्री सुनील दूबे सलाहकार वैज्ञानिक डी. एस टी, श्री भुवनेश कुमार शर्मा प्रोजेक्ट ऑफिसर कोटा, एवं श्री राकेश परिहार प्रोजेक्ट ऑफिसर जयपुर उपस्थित रहे |

मुख्य अतिथी श्री आर. ए. गुप्ता, ने बताया कि बाल विज्ञान काँग्रेस, गवर्नमेंट ऑफ़ इंडिया का ऐसा प्रोजेक्ट है जिसके तहत विद्यालय के विद्यार्थियों को अपनी कौशल क्षमता का प्रदर्शन करने का मौका मिलता है | इसके साथ ही उन्होंने बताया की असफलता से कभी भी निराश नहीं होना चाहिए बल्कि असफल होने के बाद दुगने हौसले के साथ सफलता को पाने की कोशिश करनी चाहिए |

विभाग के परियोजना अधिकारी मनीष जैन ने बताया कि वर्श २०१९ के लिए राष्ट्रीय बाल विज्ञान कांग्रेस हेतु मुख्य विषय ’’स्वच्छ, हरित और स्वस्थ राष्ट्र हेतू विज्ञान, तकनीक और नवाचार’’ निर्धारित है। उन्होंने बताया कि बाल विज्ञान कांग्रेस का उद्देश्य विद्यालयी विद्यार्थियों में अनुसंधानात्मक प्रवृति को बढावा देना है। यह विद्यार्थियों में विज्ञान विधि के इस्तेमाल करने का हुनर सीखने का अवसर प्रदान करता है।

संस्था के रजिस्ट्रार शरद कोठारी ने बताया कि बताया कि रिसर्च को बढ़ावा देने के लिए गवर्नमेंट के साथ ही संस्थान में भी समय समय पर इस तरह की गतिविधिया आयोजित होती रहती है | जिससे सभी तरह के विद्यार्थियों को हर संभव सहायता और सहयोग प्रदान किया जा सके | इसी दिशा में संस्थान में इनक्यूबेटर नाम से कार्यक्रम भी सुचारु रूप से प्रचलन में है जिसके तहत विद्यार्थी अपने द्धारा किये गए किसी भी तरह के नए आयामों को प्रदर्शित कर अपनी कौशल क्षमता का प्रदर्शन कर सकता है |

डीन पी जी हेमंत कोठरी ने बताया कि किसी भी तरह का अन्वेषण अपने आप में उपयोगिता रखता है | अत: विद्यार्थियों को अपने आप पास से जुडी हुई हर तरह की समस्याओ को ध्यान में रख कर उनके निवारण का उपाय खोजने कीकोशिश करनी चाहिए | बाल विज्ञान कांग्रेस के माध्यम से विद्यार्थी स्थानीय समस्याओें पर सोचने, इसके कारण को ढढने और वैज्ञानिक प्रणाली से हल करने की दिशा में आगे बढाता है। इस तरह का काम भी एक रिसर्च का ही हिस्सा माना जाता है | साथ ही उन्होंने बताया कि पेसिफिक युनिवर्सिटी अपने विफयार्थियो को हर तरह की रिसर्च में सहयोग प्रदान करती है | रिसर्च की गुणवत्ता को बढ़ाने के लिए विश्विद्यालय में सभी तरह के मानकों को ध्यान में रख कर ही कार्य किया जाता है |

कार्यक्रम सयोंजक एवं फैकल्टी ऑफ़ इंजीनियरिंग के संस्था निदेशक पियुष जावेरिया ने बताया की कार्यक्रम में भाग लेने के लिए राजस्थान के विभ्भिन जिलों से सरकारी और गैर -सरकारी विध्यालयों के तक़रीबन १०० बाल विध्यार्थियो ने अपने द्धारा अन्वेंषित बाल परियोजनाओं का प्रदर्शन किया | राष्ट्रीय विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी संचार परिषद्, विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग, भारत सरकार के द्वारा निर्धारित विषय पर विद्यालयी विद्यार्थी छोटी-छोटी परियोजनाएं अपने-अपने क्षेत्र में आवश्यकता अनुसार चयन कर वैज्ञानिक विधि का उपयोग करते हुए अपने मार्गदर्शक शिक्षक की सहायता से सम्पन्न करते है। वे अपने परिक्षेत्र में स्थानीय समस्याओं को समझकर, विज्ञान विधि का इस्तेमाल कर, सीखने को प्रोत्साहित होते है। यह करके सीखने की प्रक्रिया है। इन सभी परियोजनाओं का परिक्षण और मुलयांकन करने के लिए विषय विशेषज्ञों की टीम भी गठित की गयी है, जिसमें प्रो एस डी पुरोहित , प्रो ए के गोस्वामी , प्रो आर के गर्ग , प्रो. अंजू गोयल , प्रो. के. के. यादव , डॉ. मीनाक्षी , डॉ. नीतु शोरगर , डॉ. राखी मेहता उपस्थित रहे जिनके द्धारा चयनित कुल 30 प्रतिभागियों को अंतिम चरण " नेशनल चिल्ड्रन साइंस कांग्रेस 2019 " में भाग लेने के लिए बाल विद्यार्थियों को 27-31 दिसंबर 2019 को तिरुअनंतपुरम जाना होगा |

विभाग के परियोजना अधिकारी मनीष जैन ने बताया कि कार्यक्रम का समापन दिनांक ०८ दिसंबर २०१९ को किया जाएगा।


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