केन्द्रीय पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मामलों के मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने अंतरराष्ट्रीय हिम तेंदुआ दिवस के अवसर पर देश में हिम तेंदुओं की गणना के लिए पहले राष्ट्रीय प्रोटोकॉल का शुभारंभ किया। हर वर्ष 23 अक्तूबर को मनाये जाने वाले हिम तेंदुआ दिवस का उद्देश्य इन प्राणियों का संरक्षण और हिमालय में सुन्दर वन्य जीवन की रक्षा करना है। वैश्विक हिम तेंदुआ और पारिस्थितिकी तंत्र सुरक्षा कार्यक्रम की संचालन समिति की चौथी बैठक के उद्घाटन सत्र को संबोधित करते हुए श्री प्रकाश जावड़ेकर ने विश्वास जताया कि इसके दायरे में आने वाले सभी देश मिलकर काम कर सकते हैं और हिम तेंदुओं की गणना कर सकते हैं।
उन्होंने कहा कि जिन देशों में हिम तेंदुए पाये जाते हैं उन्हें उनकी संख्या को आने वाले दशक में बढ़ाकर दोगुना करने का प्रयास करना चाहिए। उन्होंने कहा कि अब समय आ गया है जब हरित अर्थव्यवस्था और वन्यजीव संरक्षण की दिशा में सभी देशों के बीच सहयोग पर विचार हो। उन्होंने इस बात पर प्रसन्नता जाहिर की कि भारत में बाघों की कुल संख्या दो हजार 967 है जो विश्वभर में बाघों की आबादी का 77 प्रतिशत है।