GMCH STORIES

अच्छा स्पर्श-बुरा स्पर्श पर एक दिवसीय कार्यशाला आयोजित

( Read 12249 Times)

12 Sep 18
Share |
Print This Page
अच्छा स्पर्श-बुरा स्पर्श पर एक दिवसीय कार्यशाला आयोजित उदयपुर| जिला कलक्टर बिष्णुचरण मल्लिक की पहल पर बालिकाओं में अच्छे एवं बुरे स्पर्श में फर्क की समझ विकसित करने हेतु प्रारंभ किये गये अभियान के पहले चरण की पहली कार्यशाला मंगलवार को सेंट पाॅल स्कूल के सभागार में आयोजित हुई।

कार्यशाला में गृहमंत्री गुलाबचंद कटारिया, विधायक फूलसिंह मीणा, जिला प्रमुख शांतिलाल मेघवाल, यूआईटी चैयरमेन रवीन्द्र श्रीमाली, जिला कलक्टर बिष्णुचरण मल्लिक, शिक्षा विभाग के संयुक्त निदेशक भरत मेहता, उपनिदेशक शिवजी गौड़, जिला शिक्षा अधिकारी सुशीला नागौरी व गिरिजा वैष्णव, आईसीडीएस उपनिदेशक डाॅ. तरू सुराणा, मिराज ग्रुप के प्रकाश पालीवाल, सेंट पाॅल स्कूल के फादर, सहित अन्य संबंधित विभागीय अधिकारी मौजूद थे।

कार्यशाला में स्कूली बालिकाओं, आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं, आशा सहयोगिनी, शिक्षिकाओं आदि ने भाग लिया। ये लोग अपने स्तर पर आगे जागरूकता फैलाने का कार्य करेंगे।

कार्यशाला के उद्घाटन के अवसर पर गृहमंत्री गुलाबचंद कटारिया ने कहा कि किसी भी समाज के सर्वागीण विकास के लिए आवश्यक है कि उसकी भावी पीढ़ी अच्छे संस्कारों से युक्त हो। समाज में महिला उत्पीडन की घटनाओं को देखते हुए एक व्यापक जागरूकता की आवश्यकता है। जिसकी शुरूआत आज की इस कार्यशाला से हुई है। विशेषकर छोटी बच्चियों के प्रति होने वाला उत्पीडन समाज के लिए बहुत ही घातक है। उन्होंने उपस्थित बालिकाओं एवं महिला समुदाय का आह्वान किया कि बुरे स्पर्श की किसी भी घटना को नजर अंदाज न करें और इसे प्रकाश में लाएं।

इस मौके पर अतिथियों ने कार्यक्रम पर आधारित जागरूकता संदेश देते फ्लेक्स और किट का विमोचन भी किया।

प्रदेश ने की पहल

कटारिया ने अपने संबोधन में कहा कि मध्यप्रदेश के बाद राजस्थान ही वह पहला राज्य था जिसने कम उम्र की बच्चियों के साथ होने वाले दुष्कर्म के संबंध में कठोर कानून बनाया। इस कानून में 12 वर्ष से कम उम्र्र की बच्ची के साथ दुष्कर्म के अपराधी को फांसी का प्रावधान किया गया। न्यायालय ने इस प्रावधान के तहत अब तक 4 लोगों को फांसी की सजा सुनाई गई है जो कि एक मिसाल है। राज्य सरकार के प्रयासों से पिछले 4 वर्षों में महिलाओं से जुड़े अपराधों में 22 प्रतिशत की कमी दर्ज की गई है।

राज्य सरकार बालिकाओं को सशक्त व आत्मनिर्भर बनाने के लिए आत्मरक्षा का प्रशिक्षण भी प्रदान कर रही है ताकि वे अपना मनोबन बनाए रख सके।

विकृत मानसिकता के लोगों से दूरी बनाना आवश्यक

अभियान की पहल करने वाले जिला कलक्टर ने अपने उद्बोधन में कहा कि समाज में विकृत मानसिकता वाले लोगों की कमी नहीं हैं। हमें उनसे पर्याप्त दूरी बनाकर रखनी होगी। बच्चों को बचपन से ही अच्छे-बुरे, मान-अपमान जैसी बातों को सिखाया जाना चाहिए। सेमीनारों के माध्यम से बालिकाओं एवं विभिन्न क्षेत्र की महिलाओं को जागरूक एवं प्रशिक्षित किया जा रहा है ताकि बुरी नीयत से स्पर्श करने वालों की पहचान करने की समझ बालिकाओं में विकसित हो सके।

मनोरंजक तरीके से सिखाया अच्छे-बुरे स्पर्श का फर्क

अभियान के सहयोगी इनाया फाउण्डेशन के कार्यकताओं ने विभिन्न मनोरंजक तरीकों से अच्छे व बुरे स्पर्श में फर्क करना सिखाया। इस कार्यक्रम हेतु मिराज ग्रुप की ओर से आर्थिक सहयोग प्रदान किया गया है। आगामी दिवसों में 4 ब्लाॅक मुख्यालयों पर ऐसे सेमीनार आयोजित किए जाएंगे एवं जागरूकता एवं प्रशिक्षण दिया जाएगा।


Source :
This Article/News is also avaliable in following categories : Udaipur News
Your Comments ! Share Your Openion

You May Like