पूर्व कुलपति प्रो. डीपी तिवारी एवं प्रो.अमेरिका सिंह के मध्य शिष्टाचार भेंटवार्ता
27 Mar, 2024
सदियों पुराना है तालाब
इसका वास्तु है नायाब
पूर्वजों की है यह विरासत
प्यासों को करता है तृप्त
आज भी है यह खरे
वर्षा पानी से है भरे
पाल के ऊपर है देव श्रृंगार
पणिहारियो के पायल की झंकार
पेड़ों की है यहां छावं
पशु पक्षियों का है पड़ाव
अमृत है यहां हवा
हर मर्ज की दवा
तालाब है गांव की शान
जीवन की है यह मुस्कान।