तालसर सरपंच एवं दुष्कर्म पीडता का अनषन शुरू

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Published on : 15 Oct, 15 10:10

बाडमेर । दलित अत्याचार निवारण समिति की बैनर तले दो सूत्री मांगों को लेकर बुधवार से तालसर सरपंच एवं दुष्कर्म पीडता ने क्रमिक अनषन शुरू किया। त्वरित एवं गंभीर कार्यवाही नहीं होने के विरोध में जिला मुख्यालय पर दसवें दिन धरना जारी रहा। दलित अत्याचार निवारण समिति ने जल्दी मांगे नहीं माने जाने पर आंदोलन तेज करने की चेतावनी दी है।
दलित अत्याचार निवारण समिति के जिला संयोजक उदाराम मेघवाल की अगुवाई में मुख्यमंत्री के नाम सौंपे ज्ञापन में बताया कि चौहटन डीएसपी ने आरोपी से मिलकर उनकी मदद कर रहे है। इस मामले में बलात्कार के प्रकरण की धारा हटाई गई है। उन्होंने बताया कि अनुसूचित जाति की महिला सरपंच को अपने विधिक अधिकारों की लडाई के लिए क्रमिक अनषन पर बैठना पडा। पूर्व सरपंच जवानाराम, सुमित्रा देवी, रणवीरसिंह, ग्रामसेवक चेतनराम एवं रोजगार सहायक सूजाराम ने षडयंत्र रचकर सरकारी रिकार्ड में हेराफेरी करने के साथ अनुसूचित जाति की तीसरी संतान के फर्जी दस्तावेज तैयार किए। इस संबंध में महिला सरपंच ने सेडवा पुलिस स्टेषन में मामला दर्ज कराने के लिए आवेदन दिया। लेकिन पुलिस ने इस संबंध में मामला दर्ज नहीं किया। मेघवाल ने बताया कि सरपंच पुलिस अधीक्षक बाडमेर को रिपोर्ट देकर मामला दर्ज करने का निवेदन करेगी। उन्होंने मांगे नहीं माने जाने पर महिला सरपंच द्वारा आमरण अनषन पर बैठने की चेतावनी दी है। उन्होंने बताया कि भाजपा राज में बाडमेर जिले की जिला प्रमुख एवं प्रधानों के साथ उनके अधिकारों को लेकर कुठाराघात हो रहा है।
मेघवाल ने बताया कि वसुंधरा सरकार के कार्यकाल में दलितों पर होने वाले अत्याचारों का बदला आने वाले चुनावों में दिया जाएगा। उन्होंने मांगे नहीं माने पर आंदोलन को तेज करने की चेतावनी देते हुए बताया कि आने वाले समय में आंदोलन को संभालना मुष्किल हो जाएगा। पुलिस प्रशासन जानबुझकर हमारे अहिंसक आन्दोलन व दलितो को भडकाने पर तुली हुई है। जिससे अम्बेडकर वादी मिशन के लोग किसी भी सूरत मे बरदास्त नही करेंगें। उनके अनुसार आने वाले दिनो में मुख्यमंत्री के बाडमेर जिले के तीन दिवसीय दौरें के दौरान जहां भी मुख्यमंत्री का भ्रमण कार्यक्रम होगा। वहां पर दलित महिलाओ एवं पुरूष काले झण्डे दिखाकर विरोध प्रदर्शन करेगें। मेघवाल के कहा कि सम्पूएार् राजस्थान में कानून एवं व्यवस्था चरमरागई है। और दबंगों एवं गुण्डेतत्वों ने कानूनव्यवस्था को अपने हाथ मे ले लिया है। पुलिस व प्रशासन मूक दर्शक होकर तमाशा देख रहे है। इस अवसर पर हरखाराम मेघवाल, सामाजिक कार्यकर्ता मंगलाराम, मामाराम तंवर, सवाईराम, अमराराम, रामाराम, टाउराम, मूलाराम, मलकू चौहान, सग्राम तालसर, इन्द्रादेवी, वगताराम, कानाराम, किषन कागा, थानाराम, जोगराजसिंह, विरधाराम, तोगाराम समेत कई गणमान्य नागरिक मौजूद रहे।

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