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कैंसर विश्ेषज्ञों ने पान मसाले पर प्रतिबंध लगाने की मांग की

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27 Jul 17
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जयपुर। वर्ल्ड हैड नेक कैंसर दिवस पर वायॅस ऑफ टोबेको विक्टिमस की और से कैंसर चिकित्सकां ने प्रदेश में पान मसाला पर प्रतिबंध लगाने के लिए प्रमुख शासन सचिव, चिकित्सा एंव स्वास्थ्य विभाग को गुरुवार को ज्ञापन दिया है। जिसमें इससे होने वाले शारीरिक नुकसान के बारें में भी बताया गया है।
वर्ल्ड हैड नेक कैंसर दिवस पर वायॅस ऑफ टोबेको विक्टिमस के स्टेट पैटर्न व सवाई मान सिंह चिकित्सालय के प्रोफेसर डा.पवन सिंघल ने बताया कि प्रदेश के कैंसर रोग विशेषज्ञों की और से प्रमुख शासन सचिव, चिकित्सा एवं स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण श्रीमती वीनू गुप्ता को ज्ञापन दिया गया है, जिसमें प्रदेश की आम जनता के स्वास्थ्य हितों को ध्यान में रखते हुए पान मसाला पर प्रतिबंध लगाने की मांग की है।
डा.सिंघल ने बताया कि वर्ल्ड हैड नेक कैंसर दिवस पर प्रदेश के एक दर्जन से अधिक कैंसर चिकित्सकें की और से दिए गए ज्ञापन में पान मसाले के सेवन से हेने वाली हानियों के बारे में जानकारी दी गई है। इसके बताया कि राजस्थान में 78 हजार लोग प्रतिवर्ष इनके सेवन से मर रहे है।
इससे पूर्व वीओटीवी व टाटा मेमोरियल हॉस्पिटल के प्रोफेसर और कैंसर सर्जन डा. पंकज चतुर्वेदी व अन्य चिकित्सकें ने महाराष्ट्र में पान मसाला पर प्रतिबंध के लिए भी प्रयास किया और सरकार ने चिकित्सकें की सलाह मानते हुए प्रतिबंध लगाया है।
उन्होने बताया कि हैड नेक कैंसर के मामले राष्टीय स्वास्थ्य येजनाअें, वंचित लोगों, परिवारों व समुदायों पर भार बढा रहे हैं। भाग्यवश हैड नेक कैंसर से जुडे अधिकांश, मामलों में यदि बीमारी का पता पहले लग जाये तो इसे रोका जा सकता है और ईलाज भी किया जा सकता है। लेकिन लाखों लाखों लोग रोग की देरी से पहचान, अपर्याप्त ईलाज व अनुपयुक्त पुनवर्वास सुविधाओं के शिकार हो जाते है।’ जिस कारण कितनी ही मातांए व पत्नी व बहिने परिवारजनो से वंचित हो जाती है।
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