उदयपुर, रिहेब पिक्चर्स की प्रस्तुति, निर्माता सत्तार दीवान और लेखक- निर्देशक के.डी. सत्यम की फिल्म बॉलीवुड डायरिज सिनेमा पर्दे के पीछे का एक कड़वा सच है। फिल्म के निर्देशक के.डी. सत्यम उस समय चर्चा मे आये जब उनकी फिल्म गट्टू ऑस्कर अवार्ड के लिए नामांकित हुई। बॉलीवुड डायरिज की कहानी के.डी. सत्यम ने लिखी है।
अपनी नई फिल्म बॉलीवुड डायरिज के बारे मे बताते हुए फिल्म के निर्माता डॉ. सत्तार दीवान ने आज उदयपुर मे आयोजित पत्रकार वार्ता के दौरान बताया कि आज भी ऐसे बॉलीवुड दिवाने पुरे देश मे में है जो सिनेमा के पर्दे के दिवाने है और पर्दे पर ही अपने प्रिय कलाकारों को देखकर उन्हें अपना समझने लगते है। यहा तक कि उनके नाम पर अपना नाम रख लेते है। उनके नाम पर मंदिर बना डालते है। ऐसे एक, दो या तीन नही हजारों दिवाने है बॉलीवुड के हर तरह के दिवाने देश के छोटे छोटे शहरों और कस्बों मे अधिक है।
दीवान ने बताया कि इस तरह के दिवानों के बारे मे सुनकर कि खुशबू और अमिताभ बच्चन के नाम पर मंदिर बना दिये, लखनउ के विशाल सिंह ने शाहरूख खान की दिवानगी मे अपना नाम बदलकर विशाहरूख रख लिया तो, विचार आया कि क्यों न बॉलीवुड के ऐसे दिवानों पर एक फिल्म बनाई जाये और इस का परिणाम बॉलीवुड डायरिज के रूप मे सामने आया।
बॉलीवुड डायरिज उन लोगो की कहानी है, जो बॉलीवुड मे अभिनय करने और अपने आप को पर्दे पर देखने के लिए पागल है। कहानी के तीन मुख्य किरदारों मे अभिनेत्री रायमा सेन, आभिनेता आशिष विद्यार्थी और, अभिनेता सलीम दीवान है। बालीवुड डायरिज मे यह तीन कलाकार भारत के अलग - अलग शहरों से आते है, फिल्म उनके व्यक्तित्व और पागलपन को पर्दे पर दिखाती है।
इस फिल्म मे रायमा सेन इमली का किरदार निभा रही है, जो कोलकत्ता की सेक्स वर्कर बनी है। आशिष विद्यार्थी विष्णु का किरदार निभा रहे है जो भिलाई के रहने वाले अवकाश प्राप्त सरकारी अफसर है, वहीं अपनी पहली फिल्म से बॉलीवुड मे कदम रखने वाले सलीम दीवान रोहित का किरदार निभा रहे है, जो दिल्ली के कॉल सेंटर मे काम करते है। इस फिल्म मे छोटे पर्दे के लोकप्रिय अभिनेत्री करूणा पांडे और विनीत सिंह भी महत्वपूर्ण किरदार निभा रहे है। विनीत सिंह अपनी फिल्म गैंग्स ऑफ वासेपूर में अपने किरदार से फिल्म जगत में अपनी पहचान बना चुके है।
रायमा सेन, आशिष विद्यार्थी और सलीम दीवान अलग-अलग शहरों से बॉलीवुड मे आने वाले कलाकार है। उन्हें अपने अभिनय की प्रतिभा पर इतना विश्वास है कि वह मानते है कि सफलता उनके कदम चूमेगी। अभिनय के प्रति समर्पित कलाकारों के संघर्ष की कहानी को बडी खुबसूरती से पर्दे पर प्रस्तुत किया गया है। फिल्म मे कहानी की वास्तविकता को बनाएं रखने केे लिए इसकी शूटिंग दिल्ली, भिलाई, कोलकाता के रेड लाईट एरिया सानागांछी में की गई है। इस फिल्म को जी स्टूडियो द्वारा 26 फरवरी को देश भर मे प्रदर्शित किया जा रहा है।