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राजस्थान की संस्कृति को जीवंत रखना चाहती है -प्रतिष्ठा

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29 Jun 15
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राजस्थान की संस्कृति को जीवंत रखना चाहती है -प्रतिष्ठा
उदयपुर / राजस्थान की संस्कृति को बॉलीवुड में गलत चित्रण किया जा रहा है । कहीं ऑइटम डांस दिखाना होता है तो राजस्थानी ड्रेसेस (वेशभूषा) पहना कर डांस कौवा कर राजस्थान की संस्कृति को बदनाम किया जा रहा है जबकि राजस्थान की संस्कृति शालीन व घूंघट मे घूमर चारी नृत्य, कालबेलिया नृत्य आदि प्रमुख हैं । में राजस्थानी संस्कृति को जीवंत रखना चाहती हूं और इसके लिए प्रयास करती रहूंगी । यह कहना है राजस्थानी फिल्मों की सुपरहिट अभिनेत्री प्रतिष्ठा ठाकुर का उदयपुर में आयोजित एक कार्यऋम के बाद खास मुलाकात में ।

पेशे से भीलवाडा के सांगानेर में राजकीय सीनियर बालिका माध्यमिक विद्यालय में गणित विषय की सेकेंड ग्रेड शिक्षिका प्रतिष्ठा ठाकुर ने बताया कि उन्होने अपने केरियर की शुरुआत सन 2001 मे हिन्दी फिल्म कुछ कुछ होता है की सना के एक कार्यऋम में बतौर एकंरिग से की उसके उन्होंने दूरदर्शन पर प्रसारित धारावाहिक चिरमी, झांकी राजस्थान री , मे लंबे समय तक बतौर एकंरिग की उसके बाद उन्होंने पीछे मुडकर नही देखा । ठाकुर ने बताया की कई एलबमो मे अभिनय के साथ -साथ उनके द्वारा निर्देशित व निदेशक कृति त्रि*एशन ग्रुप के माध्यम से स्टेज प्रोग्राम जिसमे राष्टीय स्तर के कोटा, निम्बाहेडा, आसीन्द, दशहरा मेला हिन्दुस्तान जिंक भीलवाडा महोत्सव, मन्दसौर पशुपतिनाथ मेला, सहित 5॰ से अधिक स्टेज प्रोग्राम किए । ठाकुर ने बताया कि राजस्थान सरकार के पर्यटन विभाग , पश्चिम सांस्कृतिक केन्द्र उदयपुर, आबकारी विभाग, स्वास्थ्य विभाग, के लिए बतौर डायरेक्टर ड्रोक्यूमैंट्री (लघु फिल्मों) का निर्माण किया व इनमे एकंरिग भी की ,प्रसिद्ध सांवलिया सेठ पर मंदिर बोर्ड व सरकार की ओर से लघु फिल्म निर्देशित की । उन्होंने बताया कि उन्हें फिल्मों के ऑफर मिले और राजस्थानी फिल्म धर्म बहन ,रूप कंवर में बतौर मुख्य अभिनेत्री अभिनय किया है और फिल्म घर्म बहन के लिए उन्हें मुबंई व राजस्थानी फिल्म फेस्टिवल में सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री के अवार्ड से नवाजा गया । ठाकुर ने बताया कि उनकी आने वाली फिल्मों में गजबण ,मूमल अब ओर नहीं है जिनमे भी वह मुख्य अभिनेत्री की भूमिका में नजर आएंगी । उन्होंने कहा कि वह राजस्थानी इतिहास से जुडी हाड रानी, वीर दुर्गा दास जैसी कथाओं पर आधारित फिल्मों में काम करने की इच्छुक हैं । प्रतिष्ठा ठाकुर ने इस क्षेत्र में केरियर बनाने की इच्छुक युवतियों को प्रेरणा देते हुए कहा कि वह अच्छे - बुरे की समझ रखें और कला वाही संस्कृति को साथ लेकर आगे बढे ।
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